गुजरात, तेलंगाना की तर्ज पर कैसे गुणवत्तापूर्ण बने MP की सड़कें, भवन, PWD के 1200 इंजीनियरों ने एक साथ सीखा

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गुजरात, तेलंगाना की तर्ज पर कैसे गुणवत्तापूर्ण बने MP की सड़कें, भवन, PWD के 1200 इंजीनियरों ने एक साथ सीखा

गुणवत्ता, पारदर्शिता और जवाबदेही के मूल मंत्र से लोक कल्याण के संकल्प को सिद्धि तक ले जाएं- PWD मंत्री राकेश सिंह

भोपाल. गुजरात और तेलंगाना की तर्ज पर मध्यप्रदेश में कैसे सड़कों और भवनों का गुणवत्ता के साथ निर्माण किया जाए, यह सीखने प्रदेशभर के बारह सौ से अधिक इंजीनियर आज पूरे प्रदेश मेंं एक साथ जुटे।

लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह इन इंजीनियरों से वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए जुड़े। उन्होंने कहा कि गुणवत्ता, पारदर्शिता और जवाबदेही विभग के मूलमंत्र जो लोक निर्माण से लोक कल्याण के संकल्प को सिद्धि तक ले जाएंगे।

लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह के निर्देशन में लोक निर्माण विभाग की इस राज्य स्तरीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन शुक्रवार 17 जनवरी को किया गया। मंत्री राकेश सिंह ने वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से प्रदेशभर में आयोजित प्रशिक्षण कार्यशाला ओं को एक साथ संबोधित किया। इस कार्यशाला में अधीक्षण यंत्री से उप यंत्री स्तर तक के बारह सौ इंजीनियर शामिल हुए। लोक निर्माण मंत्री राकेश सिंह के साथ प्रशासन अकादमी भोपाल और प्रदेश के सभी संभागीय मुख्यालयों में एक साथ यह प्रशिक्षण कार्यशाला आयोजित की गई।

कार्यशाला सड़क, भवन और पुल निर्माण में गुणवत्ता नियंत्रण और परियोजना प्रबंधन के विषय पर केंद्रित रही। इस कार्यशाला में विभाग में किये जा रहे सकारात्मक बदलावों, आधुनिक तकनीकों,बेहतर कार्य प्रणालियों और निविदा शर्तों में प्रस्तावित बदलावों से अभियंताओं को अवगत कराया गया। इनमें प्रमुख अभियंता और मुख्य अभियंताओं ने उपस्थित होकर अभियंताओं को प्रशिक्षण दिया।

मंत्री सिंह ने विभागीय अभियंताओं को नियमित प्रशिक्षण की आवश्यकता पर जोर देते हुए कहा कि अभियंताओं के लिये नवीनतम तकनीकों से अद्यतन रहना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने कहा, लोक निर्माण से लोक कल्याण के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए गुणवत्ता और नवाचार पर फोकस करना अनिवार्य है। उन्होंने कहा कि कार्यशाला का उद्देश्य अभियंताओं को नवीनतम निर्माण तकनीकों, बेहतर कार्य प्रणालियों और गुणवत्ता नियंत्रण उपायों से परिचित कराना है। उन्होंने कहा कि यह कार्यशाला न केवल निर्माण कार्यों की गुणवत्ता सुधारने में सहायक होगी, बल्कि संसाधनों के कुशल प्रबंधन और आधुनिक प्रक्रियाओं को अपनाने की दिशा में एक सार्थक शुरूआत साबित होगी।

कार्यशाला में तेलंगाना, गुजरात और भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अध्ययन दौरों के अनुभव साझा किए गये।
मंत्री सिंह ने कहा कि इन अनुभवों से मध्यप्रदेश के निर्माण कार्यों में सुधार होगा और आधुनिक पद्धतियों को अपनाने में सहायता मिलेगी। कार्यशाला में प्रमुख अभियंता और मुख्य अभियंता उनको आवंटित संभागों में जाकर अभियंताओं को नई तकनीकों और प्रक्रियाओं का प्रशिक्षण दिया गया। कार्यशाला में निर्माण प्रक्रियाओं को मजबूत और टिकाऊ बनाने के लिए आवश्यक तकनीकी विवरण, बेहतर सामग्री चयन और उन्नत उपकरणों के उपयोग पर विशेष जोर दिया गया।