ITR Form Notified : इनकम टैक्स ने नोटिफाई किया ITR फॉर्म, कॉमन फॉर्म नहीं आया!
New Delhi : वित्त मंत्रालय ने वित्त वर्ष 2022-23 और एसेसमेंट ईयर 2023-24 के लिए नए इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म को नोटिफाई कर दिया। सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्स (CBDT) ने एसेसमेंट ईयर 2023-24 के लिए नए इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म के साथ इनकम टैक्स रिटर्न एकनॉलेजमेंट को भी नोटिफाई किया है। सीबीडीटी इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म को हमेशा वित्त वर्ष के शुरुआत में नोटिफाई करता रहा है। लेकिन, इस बार वित्त वर्ष शुरू होने से पहले ही नोटिफाई कर दिया गया।
उम्मीद की जा रही थी कि CBDT इस वर्ष से आयकर रिटर्न दाखिल करने के लिए कॉमन इनकम टैक्स रिटर्न जारी कर सकता है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने भी एक फरवरी 2023 को बजट पेश करते हुए सभी टैक्सपेयर्स के लिए कॉमन इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म का प्रस्ताव दिया था। उन्होंने कहा था कि इनकम टैक्स विभाग की हमेशा से कोशिश रही है कि टैक्सपेयर्स सर्विसेज सुविधा को बेहतर बनाने के साथ और अनुपालन को आसान और सहज बनाया जाए।
वित्त मंत्री ने कहा था कि वो इसमें और भी सुधार देखना चाहती हैं इसलिए टैक्सपेयर्स की सुविधा के लिए नेक्स्ट जेनरेशन कॉमन इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म को रोलआउट किया जाएगा! हालांकि आने वाले एसेसटमेंट ईयर से इसे लॉन्च नहीं किया जा रहा।
अलग-अलग तरह के टैक्सपेयर्स के लिए 7 प्रकार के इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म्स होते हैं। इनकम टैक्स विभाग ने फॉर्म संख्या 1 से से लेकर फॉर्म संख्या 5 को नोटिफाई किया है। इन्हीं फॉर्म के जरिए टैक्सपेयर्स एसेसमेंट ईयर 2023-24 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करेंगे।
ITR फॉर्म संख्या -1 किनके लिए
इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म संख्या उन टैक्सपेयर्स के लिए है जिनकी सालाना आय 50 लाख रुपए तक है। उनके आय का सोर्स वेतन के अलावा एक घर प्रॉपर्टी से आय हो। इसके अलावा ब्याज से होने वाला आय और डिविडेंड इनकम और कृषि से सलाना 5 हजार रुपए तक आय वाले लोग भी ITR फॉर्म एक के जरिए आयकर रिटर्न भर सकते हैं।
आटीआर फॉर्म संख्या-2
अगर म्यूचुअल फंड, स्टॉक या फिर अचल संपत्तियों की बिक्री से कैपिटल गेन का लाभ होता है या एक से अधिक हाउस प्रॉपर्टी है तो ऐसे टैक्सपेयर्स को आईटीआर -2 दाखिल करना होगा। हालांकि, आईटीआर – 2 से वे लोग आईटीआर नहीं भर सकते जिन्हें व्यवसाय या पेशे से लाभ होता है।
कौन भर सकता है फॉर्म संख्या-3
इनकम टैक्स रिटर्न फॉर्म संख्या -3 उन व्यक्तियों और HUF के लिए लागू होगा, जिन्हें लाभ से आय होती है या व्यवसाय से लाभ होता है।
आटीआर फॉर्म संख्या-4
आईटीआर-4, जिसे सुगम के रूप में भी जाना जाता है, जो व्यक्तियों और HUF (हिंदू अविभाजित परिवार) (एलएलपी के अलावा) के लिए लागू होता है, जिनकी व्यवसाय और पेशे से कुल आय 50 लाख तक होती है। यह किसी ऐसे व्यक्ति के लिए नहीं है जो या तो किसी कंपनी में निदेशक है या उसने गैर-सूचीबद्ध इक्विटी शेयरों में निवेश किया है या या कृषि आय 5,000 रुपये से ज्यादा हो!
50 लाख इनकम के लिए सहज फॉर्म
इसे ITR Form 1 या सहज फॉर्म भी कहा जाता है। इसके तहत वह भारतीय आयकरदाता पात्र होते हैं, जिनकी सालाना इनकम 50 लाख रुपए तक है। इस इनकम में सैलरी, पेंशन या किसी अन्य सोर्स को भी शामिल किया जाता है। साथ ही 5000 रुपए तक की कृषि आय को भी इसमें शामिल किया जाता है।
अगर कोई व्यक्ति किसी कंपनी में डायरेक्टर है, उसने किसी अनलिस्टेड कंपनी में निवेश किया हो, या फिर किसी व्यक्ति ने कैपिटल गेन्स के जरिए कमाई होता है तो उसे दूसरे फॉर्म भरने होते हैं। आम तौर आयकर दाताओं का बड़ा वर्ग इस फॉर्म के दायरे में आ जाता है। इसके अलावा ITR-2, ITR-3, ITR-4(सुगम), ITR-5, ITR-6, ITR-6 और ITR-V पात्रता के आधार पर भरे जाते हैं।