दीपावली पूर्व कृषि उपज मंडियों में करोड़ों का कारोबार-किसानों की भीड़

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मंदसौर से डॉ. घनश्याम बटवाल की ख़ास ख़बर

मंदसौर। संसदीय क्षेत्र की मंदसौर-नीमच-जावरा-सीतामऊ-शामगढ़-पिपलियामंडी समेत सभी कृषि उपज मंडियों में प्रतिदिन करोड़ों रुपये मूल्य का कारोबार हो रहा है।

आगामी 31 अक्टूबर से 6 नवम्बर तक दीपावली अवकाश से मंडियों में कामकाज बंद रहेगा। त्यौहार का अवसर और नकदी की मांग पर क्षेत्र के बाहर के कृषि उत्पादक भी अपनी उपज लेकर मंदसौर-नीमच-जावरा मण्डियों में विक्रय के लिए पहुंच रहे हैं।

तीन प्रमुख मंडियों में ही औसतन विभिन्न जिंसों की लाख-सवा लाख बोरी की आवक हो रही है। मंदसौर नीमच जावरा प्रदेश की अग्रणी और प्रथम श्रेणी की मण्डियों में शुमार हैं।

विशेषकर मंदसौर मंडी के व्यापारियों, मंडी प्रशासन, हम्मालों, तुलावटियों और किसानों के संयुक्त प्रयासों से परस्पर विश्वास कायम हुआ है।

किसानों को समयबद्धता से जिंसों के अच्छे दाम और भुगतान मिलने से राजस्थान व उज्जैन क्षेत्र के किसान भी अपनी उपज ला रहे हैं।

दलहन-तिलहन, खाद्यान्न, ओषधि फसलों की आवक हो रही है।

औसत भाव

मक्का 997 से 1740 रु.प्रति क्विंटल
उड़द 4000 से 6200 रु.- – –
सोयाबीन 3000 से 5500 रु. – – – –
गेंहू 1880 से 2220 रु. – – – –
चना 3200 से 4700 रु. – – – –
धनिया 5300 से 6758 रु. – – – –
लहसुन 2200 से 11200 रु. – – –
मैथी 5540 से 7955 रु. – – – –
रायड़ा सरसों 6900 से 7825 रु. – – –
इसबगोल 9000 से 12800 रु. – – –
प्याज 400 से 2290 रु. – – – –
कलौंजी 13700 से 20900 रु. – – – –
तुलसी बीज 11400 से 16900 रु. –
डालर चना 3840 से 9000 रु. – – – –
तिल्ली 7700 से 9850 रु. – – – –
असालिया 4800 से 5810 रु . – – –
अश्वगंधा 15000 से 32000 रु. – – –
पोस्ता खसखस 132000 से 196000 रु – – – –

मंदसौर-नीमच में नई उड़द, नई लहसुन, नई कलौंजी की आवकें हो रही है। दोनों मंडियों में ही लहसुन के 30-40 हजार कट्टे, सोयाबीन की 15 से 25 हजार बोरी, गेहूं की 3 से 5 हजार बोरी, मक्का 2000 से 3500 बोरी, प्याज 3 से 5 हजार कट्टे, चना 500 से 1000 बोरी, सहित अन्य जिंसों की आवक है।

नीमच-मनासा क्षेत्र की विशिष्ट औषधि फसल अश्वगंधा की 500-700 बोरी की आवक हैं दाम भी ऊंचे हैं। आयुर्वेदिक दवा निर्माताओं की सीधी मांग है।

अफ़ीम फसल उत्पाद पोस्ता खसखस की दिशावरी में खासी मांग है। लगभग दो महीने बाद नीमच मंडी में अधिकृत क्रय- विक्रय शुरू हुआ है। औसतन 400 से 700 बोरी की आवक दर्ज़ हो रही है। भाव भी बढ़कर दो लाख रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंचा।

किसानों को मंडी प्रांगण में ही जिंसों के ऊपर-नीचे भाव पता चल जाते हैं। उस अनुसार अपनी उपज का मूल्यांकन कर रहा है। सोयाबीन दाना नमी वाला मंडियों में पहुंच रहा है।

समृद्ध किसान और व्यापारी विभिन्न उपज भंडारण कर रहा है। मार्केट की स्थिति अनुसार रोककर ऊंचे भावों की उम्मीद है।

बाजारों में आम उपभोक्ताओं को महंगाई की मार है वहीं किसानों को प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री योजना में डायरेक्ट राशि जमा होने और उपज मूल्यों की भाव वृद्धि से लाभ मिल रहा है।