Mukut Bihari Saroj Samman : नव गीतकार यश मालवीय को जन कवि ‘मुकुट बिहारी सरोज सम्मान!’

यह 20वां सरोज सम्मान होगा जिससे में सम्मानित होने वाले यश मालवीय 21वें कवि होंगे!

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Mukut Bihari Saroj Samman : नव गीतकार यश मालवीय को जन कवि ‘मुकुट बिहारी सरोज सम्मान!’

Gwalior : देश का अति प्रतिष्ठित ‘जन कवि मुकुटबिहारी सरोज सम्मान’ इस बार प्रख्यात नव गीतकार यश मालवीय को दिए जाने का निर्णय ‘जन कवि मुकुटबिहारी सरोज न्यास’ ने अपनी बैठक में लिया। यह जानकारी न्यास के अध्यक्ष महेश कटारे ‘सुगम’ व सचिव मान्यता सरोज ने एक विज्ञप्ति में जारी की।

यह 20वां सरोज सम्मान होगा जिसमें समाहित होने वाले यश मालवीय 21वें कवि होंगे। सरोज जी के जन्मदिन 26 जुलाई को ग्वालियर में एक भव्य समारोह में यह सम्मान दिया जाता है जिसमें सम्मान पत्र, शॉल, श्रीफल व नकद राशि का समावेश है।

यश मालवीय का इलाहाबाद से आत्मीय रिश्ता है। नवगीत उनकी रगों में बहता है। उनके पिता उमाकांत मालवीय नवगीत के शिखर पुरुष थे। उनके भाई बसु, अंशु व पुत्र सौम्य मालवीय भी चर्चित कवि हैं। एक दर्जन किताबों का यह लोकप्रिय नवगीतकार दो बार उत्तरप्रदेश हिंदी संस्थान द्वारा पुरस्कृत है।उन्हें ऋतुराज सम्मान व मोदी कला भारती सम्मान से भी सम्मानित किया गया है।

जन कवि मुकुटबिहारी सरोज की जन परम्परा के वे प्रतिनिधि नव गीतकार हैं।वे मंचों के सफलतम नायक हैं।वे मंच से जब पढ़ते हैं:

आओ भाई रामसुभग

दरी बिछाओ रामसुभग,

मंच लगाओ रामसुभग

माइक लाओ रामसुभग।

भीड़ जुटाओ रामसुभग

नाचो, गाओ रामसुभग।

तब श्रोताओं में गजब की स्फूर्ति आ जाती है और वे उत्साह में देर तक तालियाँ बजाते हैं।

अब तक यह सम्मान निदा फाजली, नरेश सक्सेना, राजेश जोशी, निर्मला पुतुल, सविता सिंह, कात्यानी, जसिंता केरकेटा, कविता कर्मकार आदि को मिल चुका है।