उज्जैन से सुदर्शन सोनी की रिपोर्ट
उज्जैन। क्षिप्रा नदी को फिर से प्रवाहमान बनाने के लिए उज्जैन में जल संरक्षण को लेकर विशेष कार्य प्रारंभ किए जा रहे हैं। क्षिप्रा नदी की सहायक नदी चंद्रभागा को पुनर्जीवित करने के लिए आमजन के सहयोग से ४ अप्रैल सोमवार से उज्जैन ननि के वार्ड १२ के अंतर्गत आने वाले ग्रामीण क्षेत्र मोहनपुरा बड़नगर रोड पर नदी के उद्गम स्थल पर बड़ा अभियान प्रारंभ किया जा रहा है।
इस संबंध में सामाजिक कार्यकर्ता और क्षिप्रा नदी संरक्षण अभियान के तहत सोमतीर्थ कलस्टर के प्रभारी पुष्पेंद्र शर्मा ने बताया कि इस कार्यक्रम के दौरान श्रमदान किया जाएगा हैं। आसपास के ग्रामीणजनो ने संकल्प लिया है कि वो अन्य लोगों के सहयोग से इस सहायक नदी को पुराने स्वरूप में ले आयेंगे और यह कार्य मां क्षिप्रा नदी को पुन: प्रवाहमान बनाने में बहुत सहायक होगा । कार्यक्रम में उत्तराखंड राज्य के प्रमुख पर्यावरणविद, लेखक और पद्मश्री डा. अनिल प्रकाश जोशी भी सम्मिलित रहेंगे । पुष्पेंद्र शर्मा के अनुसार विगत १३ मार्च को उज्जैन में क्षिप्रा मित्रों का सम्मेलन आयोजित कर नदी को उज्जैन से लेकर आलोट तक २२ कलस्टर में विभाजित कर कार्य योजना बनायी गई थी, उसी क्रम में सोमतीर्थ कलस्टर के तहत यह कार्य हाथ में लिया गया है। चंद्रभागा नदी मोहनपुरा रेलवे पटरी के समीप से निकलकर मोहनपुरा, मुल्लापुरा, सदावल होते हुए कालीदास उद्यान के समीप सोमतीर्थ होते हुए क्षिप्रा में मिलती हैं। अभी यह एक बरसाती नाले के रूप में हैं। ग्रामीणजनो की आस्था इस नदी के प्रति हैं और पुराने ग्रामीणजन आज भी मौजूद हैं जिनके सामने यह नदी बहती थी। इस अभियान के तहत चंद्रभागा पुनर्जीवन का काम किया जाएगा। इसके तहत स्थान स्थान पर तालाब, स्टाप डैम बनाए जायेंगे। नदी को चौड़ा किया जाएगा। साथ ही पौधारोपण भी किया जाएगा। इसके अलावा इसके कैचमेंट क्षेत्र में अन्य छोटी छोटी जल संरचनाओं का निर्माण भी किया जायेगा। इसके अलावा नागरिकों को जोड़कर जल स्त्रोतों के प्रति पूर्ववत भाव जागृत किया जाएगा।