Death Penalty For Same-Sex Relationships: समलैंगिक संबंधों पर मिलेगी सजा-ए-मौत
अफ्रीकी देश युगांडा में समलैंगिक संबंध बनाने वालों को मौत की सजा मिलेगी। इससे जुड़े कानून को वहां के राष्ट्रपति ने मंजूरी दे दी है। इस पर अमेरिका ने नए कानून को सार्वभौमिक मानवाधिकारों का उल्लंघन बताते हुए युगांडा से इसे तत्काल निरस्त करने की मांग की है।
युगांडा के राष्ट्रपति योवेरी मुसेवेनी (Yoweri Museveni) ने सोमवार (29 मई) को देश में समलैंगिक संबंधों के खिलाफ कठोर बिल वाले दस्तावेज पर साइन कर दिए है.
इस कानून के मुताबिक युगांडा में समलैंगिक संबंध बनाने पर मौत की सजा और आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान है.
युगांडा के राष्ट्रपति योवेरी मुसेवेनी की ओर से समलैंगिकता से जुड़े बिल पर साइन करने के बाद LGBTQ समुदाय के लिए ये दुनिया का सबसे कठोर कानून बन गया है. वेर्स्टन देशों ने इस कानून की जमकर आलोचना की है. अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडेन (Joe Biden) ने सारी दुनिया के लिए एक दुखद बताया है. बाइडेन ने कहा, इस कानून को जितनी जल्दी हो सके रद्द कर देना चाहिए. बाइडेन ने ऐसा न करने पर पूर्वी अफ्रीकी देश में सहायता और निवेश में कटौती करने की धमकी दी.
पश्चिमी अनैतिकता से बचाने की कोशिश
युगांडा के सांसदों ने इस महीने की शुरुआत में कानून का एक नया ड्राफ्ट पारित किया था, जिसमें उन्होंने कहा था कि युगांडा के मूल्यों को पश्चिमी अनैतिकता से बचाने की उनकी कोशिशों में बाहरी हस्तक्षेप का विरोध करने का संकल्प लिया गया है. कानून में कहा गया है कि समलैंगिक के रूप में पहचान करना अपराध नहीं होगा लेकिन समलैंगिक संबंध बनाने पर मौत और आजीवन कारावास की सजा दी जाएगी.
अधिकार समूह ने दायर किया केस
युगांडा के राष्ट्रपति मुसेवेनी ने कानून बनाने वालों को समलैंगिकता कानून में शामिल मृत्युदंड देने वाले प्रावधान को हटाने की सलाह दी थी, लेकिन सांसदों ने इस बात को खारिज कर दिया. इसका मतलब है कि बार-बार अपराधियों को मौत की सजा दी जा सकती है. हालांकि कानून के खिलाफ युगांडा के हाईकोर्ट में एक कानूनी चुनौती यह तर्क देते हुए दायर की गई है कि कानून स्पष्ट रूप से असंवैधानिक है. युगांडा ने कई सालों से किसी को मृत्युदंड नहीं दिया है.