धार से वरिष्ठ पत्रकार छोटू शास्त्री की रिपोर्ट
Kukshi (Dhar) : मुख्यमंत्री कन्यादान योजना में वधु को कन्यादान के रूप में सरकार की तरफ से दी जाने वाली सामग्री में लगातार अनियमितता देखने को मिल रही है। मनावर से शुरू हुआ घटिया सामग्री का खेल डही जनपद तक पहुंच गया। जनपद पंचायत डही में विवाह समारोह में शामिल होने वाले जोड़ों को कन्यादान के रूप में घर कार्य में उपयोगी सामग्री सरकार की तरफ से दिए जाना था। लेकिन, इस सामग्री की क्वालिटी देखने पहुंचे अफसरों ने समारोह निरस्त करवा दिया। डही में आज विवाह समारोह प्रस्तावित था। मामला सामने आने के बाद अब अफसर इस मामले में बात करने से बच रहे हैं।
देखिये वीडियो: क्या कह रहे हैं, विधायक सुरेन्द्र सिंह हनी बघेल-
जनपद पंचायत मनावर में आयोजित मुख्यमंत्री कन्यादान विवाह समारोह योजना के तहत जनप्रतिनिधियों द्वारा कन्यादान सामग्री का वितरण करवाया जा रहा था। इस बीच सांसद छतरसिंंह दरबार ने सामग्री घटिया होने का मामला उठाया था। इसके बाद मनावर से शुरू हुआ यह क्रम लगातार देखने को मिल रहा है। इसके बाद जनपद पंचायत मनावर के सीईओ पर कार्रवाई भी हुई। लेकिन, दोबारा डही में इसी तरह के हालात देखने को मिले है। इसके बाद प्रशासन ने किरकिरी से बचने के लिए आयोजन ही निरस्त करने का फैसला किया।
321 जोड़ों का होना था विवाह
जनपद पंचायत डही में 15 मार्च यानी आज प्रस्तावित मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत विवाह समारोह आयोजित होना था। लेकिन, घटिया दहेज़ सामग्री सप्लाय होने का मामला सामने आने के बाद समारोह निरस्त कर दिया गया। एसडीएम नवजीवन विजय पवार और अधिकारियों ने समारोह के एक-दो दिन पहले सामग्री की जांच की थी। एक प्रत्यक्षदर्शी के मुताबिक, इस दौरान जब सप्लाय किया गया पंखा चलवाकर देखा तो उसकी पंखुड़ी चलते-चलते बाहर आ गई। दूसरी सामग्री की भी क्वालिटी मापदंड के अनुसार कमजोर पाई गई। बताया जा रहा है कि इसके बाद समारोह में किरकिरी से बचने के लिए आयोजन को निरस्त कर दिया गया। जबकि, आयोजन की सारी तैयारियां कर ली गई थी।
विधायक ने प्रेस वार्ता में मुद्दा उठाया
घटिया सामग्री खरीदी मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है। पूर्व मंत्री और कुक्षी के कांग्रेस विधायक सुरेंद्र सिंह हनी बघेल ने भी इस मामले में प्रेस वार्ता ली। बघेल ने कहा कि प्रशासन और सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि इस पूरे मामले में जिम्मेदार प्रशासन है। समय रहते हुए सामग्री की जांच न करते हुए ऐन वक्त पर जांच क्यों की गई? भारतीय जनता पार्टी के नेताओं का नाम न होने के कारण इस आयोजन को आगे बढ़ाया गया। इससे हमारे आदिवासी लोग परेशान हो रहे है। इस वक्त शादी ब्याह का दौर चल रहा है। ऐन वक्त पर कार्यक्रम निरस्त करने से लोगों को भी परेशानी झेलना पड़ी।
देखिये वीडियो:
मापदंड वाली ये सामग्री देने का प्रावधान
– दीवार घड़ी ISI मार्क
– रेडियो ISI मार्क
– टेबल फैन ISI मार्क
– प्रेशर कुकर ISI मार्क
– पैर वाली सिलाई मशीन ISI मार्क
– कलर टीवी 32 इंच ISI मार्क
– 51 स्टील के बर्तनों का सेट ISI मार्क
– स्टील की अलमारी साढ़े पांच फीट 20 गेज
– टेबल के साथ 6 फाइबर चेयर का सेट ISI मार्क
– रजाई, गद्दा, तकिया सहित दो चादर रेडीमेड 3 1/2 इंच रूई मोटाई
– लकड़ी या फाइबर की डायनिंग टेबल 6 कुर्सियां ISI मार्क
– एलपीजी गैस कनेक्शन एवं चूल्हा पीएम उज्जवला योजना अनुसार
– लोहे का निवार वाला पलंग अथवा लकड़ी का पलंग (4 बाय 6 फीट) मजबूत और टिकाऊ
नालछा में भी फर्जीवाड़े की सुगबुगाहट
इधर जनपद पंचायत नालछा में कन्यादान विवाह समारोह प्रस्तावित है। लेकिन चर्चा है कि समारोह के लिए किए जा रहे पंजीयन में टारगेट पूरा करने के चक्कर में नियम कायदों को ताक पर रखा जा रहा है। उन जोड़ों का भी पंजीयन कर लिया गया है, जिनका विवाह हुए एक साल या उससे कम समय हुआ है। सामग्री और सहायता राशि के लालच में हर कोई अपना नाम पंजीयन में जुड़वाने के लिए कोशिश कर रहा है। इसमें पंचायत अमले की भी भूमिका संदिग्ध नजर आ रही है। इस मामले में जिला पंचायत सीईओ श्रृंगार श्रीवास्तव का भी पक्ष जानना चाहा लेकिन उनके द्वारा फोन रिसीव नहीं किए जाने के कारण संपर्क नहीं हो पाया।