Opposition to BJP Candidature Begins : भाजपा में कई उम्मीदवारों का विरोध शुरू, विद्रोह की आशंका!

सोनकच्छ, झाबुआ, चांचौड़ा और महाराजपुर में कार्यकर्ताओं का विरोध!   

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Opposition to BJP Candidature Begins : भाजपा में कई उम्मीदवारों का विरोध शुरू, विद्रोह की आशंका!

     Bhopal : भाजपा ने विधानसभा के 39 उम्मीदवारों की पहली सूची जारी कर दी। इसके साथ ही भाजपा में बगावत के सुर भी सुनाई देने लगे। आधा दर्जन से ज्यादा सीटों पर घोषित उम्मीदवारों के खिलाफ बगावत शुरू हो गई। माना जा रहा है कि अभी और जगह भी इस तरह का विरोध होगा। झाबुआ, गुना की चाचौड़ा, सागर की बंडा, छतरपुर की महाराजपुर और छतरपुर, डिंडोरी की शाहपुरा और देवास की सोनकच्छ सीट पर नाराज नेताओं ने बयानबाजी शुरू कर दी।

सोनकच्छ सीट से विधायक रहे राजेंद्र वर्मा ने राजेश सोनकर को उम्मीदवार बनाए जाने पर कहा कि पार्टी ने अन्याय किया। 23 हजार से हारे पूर्व मंत्री लालसिंह आर्य के साथ हारे हुए कई लोगों को टिकट दिया, तो मेरे साथ क्या दिक्कत थी। पांच बार के सांसद पिता फूलचंद वर्मा ने पं दीनदयाल जी के साथ काम किया। सोनकच्छ में राजेंद्र वर्मा कई दिनों से चुनावी तैयारी में लगे थे। उल्लेखनीय है कि सोनकच्छ से इंदौर की सांवेर सीट के पूर्व विधायक राजेश सोनकर को उम्मीदवार बनाया गया है।

एक ही परिवार में दो टिकट 
झाबुआ विधानसभा सीट से जिला भाजपा अध्यक्ष भानु भूरिया को टिकट देने के खिलाफ पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष धनसिंह बारिया ने बगावत का बिगुल बजा दिया। उन्होंने पार्टी पर भाई-भतीजावाद का आरोप लगाते हुए निर्दलीय चुनाव लड़ने की घोषणा की। बारिया ने कहा कि संगठन के नेता कहते हैं कि पार्टी में भाई-भतीजावाद, परिवारवाद नहीं चलेगा। तो फिर झाबुआ की दो विधानसभा सीटों में ऐसा क्या हो गया की पार्टी ने सारे नियमों को ताक में रखकर एक ही परिवार के दो सदस्यों निर्मला भूरिया और भानु भूरिया को टिकट दे दिया।

पेटलावद विधानसभा की उम्मीदवार निर्मला भूरिया और झाबुआ विधानसभा उम्मीदवार भानु भूरिया एक ही परिवार के हैं। निर्मला भूरिया स्व दिलीप सिंह भूरिया की पुत्री है और भानु भूरिया के पिता और दिलीप सिंह भूरिया दोनों काका-बाबा के लड़के हैं। इस नाते से निर्मला और भानु का बुआ भतीजे का रिश्ता है।

चांचौड़ा में खुला विरोध  
गुना की चाचौड़ा सीट से पूर्व विधायक ममता मीणा घोषित उम्मीदवार प्रियंका मीणा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उन्होंने 21 अगस्त को कार्यकर्ताओं की बैठक बुलाई है। यहां से पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के भाई लक्ष्मण सिंह फ़िलहाल विधायक हैं। ओमप्रकाश धुर्वे को पार्टी ने शाहपुरा से उम्मीदवार बनाया है, पर वे डिंडोरी से लड़ना चाहते हैं। ममता मीणा ने कहा कि कोई रायशुमारी नहीं हुई। मंडल अध्यक्षों से पूछा तक नहीं गया। जिस प्रियंका मीणा टिकट दिया गया, वे और उनके देवर जिला पंचायत सदस्य का चुनाव हारे हैं। फिर भी उन्हें ऊपर से टिकट हो गया, यह फॉर्मूला नहीं चलेगा। कार्यकर्ता जो कहेंगे, वही करूंगी।

छतरपुर और महाराजपुर के घोषित उम्मीदवारों को लेकर भी विवाद बढ़ता दिखाई दे रहा है। पूर्व मंत्री ललिता यादव का विरोध छतरपुर में और पूर्व विधायक मानवेंद्र सिंह के बेटे कामाख्या प्रताप सिंह का विरोध महाराजपुर में हो रहा है। विरोध में कामाख्या का पुतला दहन किया गया।   मुरैना की सबलगढ़ सीट पर भी विरोध के सुर सुनाई देने लगे। भाजपा ने रणवीर जाटव का टिकट काटकर गोहद से पूर्व मंत्री लाल सिंह आर्य को उम्मीदवार बनाया है। इससे गोहद में खींचतान बढ़ने की संभावना है। गोहद से पूर्व विधायक रहे रणवीर जाटव ने कहा कि पार्टी के निर्णय और अधिकृत प्रत्याशी के साथ हूं। भितरवार या किसी दूसरी सीट से दावेदारी की कोई बात नहीं। लेकिन, अंदर की खबर है कि वे सेबोटेज कर सकते हैं।

‘आप’ से आने वाले को टिकट 
बालाघाट की लांजी सीट से राजकुमार कर्राये के खिलाफ भी विरोध होने लगा। शुक्रवार को कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया और कहा कि जो भाजपा का प्राथमिक सदस्य नहीं है, कुछ दिन पहले तक आम आदमी पार्टी से चुनाव का प्रचार कर रहे थे। उन्हें टिकट देकर कार्यकर्ताओं के साथ अन्याय किया गया। भगोड़े को टिकट दिया गया है, जिसे हरा देंगे। कार्यकर्ता पूर्व विधायक रमेश पटेल को टिकट देने की मांग कर रहे थे। बंडा से पूर्व भाजपा सांसद शिवराज सिंह लोधी के बेटे वीरेंद्र को टिकट दिया गया है। इसके विरोध में दावेदार रंजोर सिंह के समर्थकों ने प्रदर्शन कर केंद्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल के खिलाफ नारे लगाए। शाहगढ़ में रैली भी निकाली।