

Why Mock Drill : सीमा से सटे राज्यों में आज मॉक ड्रिल का फैसला क्यों, क्या फिर कुछ होने की आशंका!
New Delhi : केंद्र सरकार ने पाकिस्तान की सीमा से लगे राज्यों में 29 मई को मॉक ड्रिल कराने का फैसला किया है। मॉक ड्रिल का मकसद संभावित खतरों के प्रति देश की तैयारियों का आकलन करना और लोगों को आपातकालीन स्थितियों से निपटने के लिए जागरूक करना होता है। यह अभ्यास भी सुरक्षा के लिए एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। लेकिन, राजस्थान और गुजरात जैसे कुछ राज्यों में मॉक ड्रिल की तारीखों में बदलाव किया गया है।
22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले का बदला लेने से पहले केंद्र सरकार ने देश के लोगों को सतर्क और जागरूक करने के लिए मॉक ड्रिल कराई थी। इसके बाद पाकिस्तान में घुसकर आतंकियों के 9 ठिकानों को तबाह किया। आतंकियों के खिलाफ इस एक्शन से बौखलाए पाकिस्तान ने भारत पर हमले की कोशिश की।
पाकिस्तान ने सीमा से सटे राज्यों पर ड्रोन से हमले करने की कोशिश की थी। इस दौरान सेनाओं के शौर्य के साथ ही मॉक ड्रिल की जागरूकता भी काफी कारगर साबित हुई। ऐसे में अब जब सरकार ने दोबारा मॉक ड्रिल कराने का आदेश जारी किया, तो लोगों को लगा कि क्या फिर कुछ होने वाला है! गुरुवार को होने वाली मॉक ड्रिल एहतियात के तौर पर पाकिस्तान से सटे राज्यों में कराई जा रही है।
गुजरात और राजस्थान में मॉक ड्रिल अभी नहीं
ये मॉक ड्रिल 29 मई को गुजरात, राजस्थान, पंजाब, जम्मू कश्मीर के साथ ही हरियाणा में भी होनी थी। हालांकि, गुजरात और राजस्थान में अभी नहीं होगी। गुजरात सूचना विभाग की ओर से कहा गया कि सिविल डिफेंस अभ्यास ‘ऑपरेशन शील्ड’ को प्रशासनिक कारणों से स्थगित कर दिया गया। गुजरात और राजस्थान में अभ्यास के लिए अगली तारीख बाद में जारी की जाएगी। इसी तरह पंजाब में होने वाली मॉक ड्रिल 3 जून को होगी।
क्या हैं तैयारियां मॉक ड्रिल को लेकर
राजस्थान में गुरुवार को पाकिस्तान की सीमा से लगे जिलों में मॉक ड्रिल होनी थी। आगे होने वाली मॉक ड्रिल में लोगों को सतर्क रहने की हिदायत दी जाएगी। मॉक ड्रिल के दौरान सायरन भी बजेंगे। इस दौरान इमरजेंसी व्यवस्थाओं को जांचा जाएगा। हरियाणा में भी ‘ऑपरेशन शील्ड’ के तहत सिविल डिफेंस एक्सरसाइज की जाएगी।
हरियाणा के सभी 22 जिलों में ब्लैकआउट होगा, जो कि रात 8 से 8.15 बजे तक 15 मिनट के लिए रहेगा। पंजाब में ‘ऑपरेशन शील्ड; के तहत मॉक ड्रिल 3 जून को होगी। दरअसल, पंजाब के सिविल डिफेंस कर्मचारियों को एनडीआरएफ की तरफ से ट्रेनिंग दी जा रही है। इस वजह से सिविल डिफेंस कर्मचारी उपलब्ध नहीं हैं। इस वजह से पंजाब की ओर से केंद्र को बताया गया कि उनके यहां मॉक ड्रिल 3 जून को कराई जाएगी।
क्या होता है ब्लैक आउट में
ब्लैकआउट को दुश्मन के हमलो या निगरानी से महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे और नागरिक क्षेत्रों को छिपाने के लिए किया जाता है। इस दौरान सभी स्ट्रीट लाइट, घरेलू लाइट, गाड़ियों की हेडलाइट और सार्वजनिक लाइटिंग बंद कर दी जाती या ढक दी जाती है। ताकि, शहर आसमान से अंधेरा दिखाई दे. लाइट को बाहर निकलने से रोकने के लिए खिड़कियों पर काले कागज, पर्दे या ढाल का उपयोग किया जाता है।
मॉक ड्रिल का मकसद क्या
इस मॉक ड्रिल के शुरूआती मकसद में कंट्रोल रूम और हवाई हमले की वार्निंग सिस्टम की क्षमता का परीक्षण करना शामिल है। इसमें नागरिक सुरक्षा सेवाओं जैसे कि वार्डन सेवाएं, अग्निशमन, बचाव अभियान, डिपो प्रबंधन और निकासी योजनाओं की तैयारी की प्रभावशीलता का भी आकलन किया जाना है। गुरुवार को होने वाली मॉक ड्रिल में लोगों को युद्ध की परिस्थितियों से निपटने के बारे में जानकारी दी जाएगी। लोगों को सतर्क रहने की हिदायत भी दी जाएगी। प्रशासनिक स्तर पर भी मॉक ड्रिल, ब्लैक आउट, मॉल खाली कराना आदि तैयारियों का जायजा लिया जाएगा।