EPFO ने किया सीमा बढ़ाने का समर्थन;भारत में रिटायरमेंट की उम्र सीमा बढ़ सकती है.

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EPFO ने किया सीमा बढ़ाने का समर्थन;भारत में रिटायरमेंट की उम्र सीमा बढ़ सकती है.

ईपीएफओ मान रहा है कि आने वाले समय में देश की जनसंख्या का एक बड़े हिस्सा के रिटायरमेंट की सीमा पर पहुंचने से पेंशन फंड पर बोझ बढ़ जाएगा. जिससे निपटने के लिए अभी से कदम उठाने की जरूरत है.

ने वाले समय में भारत में रिटायरमेंट की उम्र सीमा बढ़ सकती है. दरअसल भविष्य को देखते हुए ईपीएफओ को इसके लिए सभी वजहें दिख रही हैं. और इन वजहों से संगठन ने सीमा बढ़ाने का समर्थन किया है.

इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक ईपीएफओ चाहता है कि आने वाले समय में देश में अधिक उम्र के लोगों की जनसंख्या में हिस्सेदारी बढ़ने और जीवन को लेकर स्थितियां और अनुकूल होने से रिटायरमेंट की सीमा को इन स्थितियों से जोड़ने की जरूरत है.

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क्या है ईपीएफओ की राय

ईपीएफओ ने अपने विजन डॉक्यूमेंट 2047 में कहा है कि रिटायरमेंट की उम्र सीमा को बढ़ाना ऐसी स्थितियों का सामना कर चुके अन्य देशों को मिले सबक के मुताबिक ही होगा, और ये पेंशन सिस्टम को व्यवहारिक बनाने में प्रमुख भूमिका निभाएगा. अनुमान है कि भारत में साल 2047 तक करीब 14 करोड़ लोग 60 साल या उससे ऊपर की उम्र के होंगे, अगर रिटायरमेंट की सीमा इसी स्तरों पर रहती है तो इससे पेंशन फंड पर दबाव काफी बढ़ जाएगा. इस स्थिति से निपटने के लिए ईपीएफओ उम्र सीमा बढ़ाने का मन बना रहा है.

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इकोनॉमिक टाइम्स ने एक वरिष्ठ अधिकारी के हवाले से लिखा है कि अगर उम्र सीमा बढ़ती है तो पहले से ज्यादा जमा रकम, ज्यादा वक्त तक ईपीएफओ और पेंशन फंड्स के पास रहेगी जिससे उसे महंगाई का असर खत्म करने में मदद मिलेगी. इस विजन डॉक्यूमेंट को राज्यों के साथ साझा किया गया है और सभी पक्षों के साथ इस पर जल्द चर्चा शुरू होगी.

भारत में बढ़ेगी सेवानिवृत लोगों की संख्या

भारत में सरकारी से लेकर निजी क्षेत्र में रिटायरमेंट की उम्र 58 से 65 साल के बीच है. हालांकि यूरोपियन यूनियन में 65 साल, डेनमार्क, इटली, हॉलैंड में 67 साल, अमेरिका में 66 साल है. इन सभी देशों में बुजुर्गों की संख्या पूरी जनसंख्या में काफी ज्यादा है. साल 2047 तक भारत में भी ऐसी स्थिति आ सकती है. बुजुर्गों की संख्या बढ़ने के साथ ही रिटायरमेंट से जुड़े फायदे और पेंशन में काफी खर्च बढ़ेगा. हालांकि जीवन स्तर बेहतर होने के साथ कई लोग ज्यादा समय तक काम करने के लिए खुद को फिट पाते हैं. सीमा बढ़ाने के साथ न केवल इन का कार्यकाल बढ़ेगा साथ ही ईपीएओ को अपना जमा बढ़ाने और उसके प्रबंधन के बेहतर अवसर मिलेंगे

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