
Honey Trap : चर्चित हनी ट्रैप मामले के आरोपियों पर कोर्ट ने आरोप तय किए, केस में 8 आरोपी जिनमे 6 महिलाएं!
Indore : पांच साल पहले राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों में हंगामा मचाने वाले चर्चित हनी ट्रैप मामले के सभी आरोपियों पर कोर्ट ने आरोप तय कर दिए। मामले के मुख्य शिकायतकर्ता इंदौर नगर निगम के पूर्व सिटी इंजीनियर हरभजनसिंह थे, जिनकी कुछ दिनों पहले मौत हो गई। 2019 में दर्ज केस में कुल 8 आरोपी बनाए गए थे। आरोपियों की वकील ने तय किए आरोपों को मानने से इनकार कर दिया।
अजा, अजजा अत्याचार निवारण अधिनियम के विशेष न्यायाधीश देवेंद्र प्रसाद मिश्रा ने शनिवार को आरोपी मोनिका उर्फ सीमा पिता हीरालाल यादव पर आरोप तय किए। कोर्ट ने जारी आदेश में भादसं की धाराओं 420, 120बी/385, 120बी/389, 467, 468 और 471 के तहत दोषी पाया गया है। मामले में अगली सुनवाई 8 फरवरी को होगी। कोर्ट ने सभी आरोपियों को व्यक्तिगत उपस्थिति के आदेश दिए थे।
इस हनी ट्रैप कांड का खुलासा हरभजन सिंह की शिकायत के बाद ही हुआ था। उन्होंने शिकायत में कहा था कि, कुछ युवतियां उन्हें वीडियो रिकार्डिंग के नाम पर ब्लैक मेल कर रही हैं। बाद में पुलिस ने भोपाल और इंदौर से चार युवतियों को गिरफ्तार किया। इनमें से एक आरोपी युवती ने हरभजन सिंह के खिलाफ दुष्कर्म की शिकायत भी की थी। इसके बाद हरभजन पर भी पुलिस ने केस दर्ज किया था। फिर विभाग ने उन्हें निलंबित कर दिया था और उनका मुख्यालय रीवा कर दिया गया।
नौकरी से सस्पेंड होने के कुछ दिनों तक हरभजन इंदौर में ग्रेटर कैलाश मार्ग स्थित मकान में रहने चले गए थे। बाद में वे अपने पैतृक रीवा स्थित निवास पर चले गए, जहां उनकी मौत हो गई। पत्नी और उनके बेटे भी दूसरे शहर में रहने चले गए थे।
मामले में 8 आरोपी इनमें 6 महिलाएं
नगर निगम इंदौर के तत्कालीन चीफ इंजीनियर हरभजन सिंह को कुछ युवतियों ने अश्लील वीडियो के नाम पर ब्लैकमेल किया था। उनसे 3 करोड़ रुपए की मांग की गई थी, इसकी पलासिया पुलिस थाने में शिकायत की थी। पुलिस ने 6 महिलाओं समेत 8 को आरोपी बनाया। आरती, मोनिका, श्वेता (पति विजय), श्वेता (पति स्वप्निल), बरखा को गिरफ्तार कर कोर्ट ने जेल भेज दिया था। इनके अलावा गाड़ी ड्राइवर ओमप्रकाश कोरी को भी गिरफ्तार किया था। बाद में सभी की जमानत हो गई। इस केस में अभिषेक ठाकुर, रूपा भी आरोपी हैं।
सिटी इंजीनियर हरभजन सिंह द्वारा दर्ज कराई गई एफआईआर में कई खुलासे हुए थे। उसके मुताबिक, भोपाल की आरती पति पंकज दयाल ने 18 वर्षीय बीएससी छात्रा मोनिका से दोस्ती करवाई। फिर इंदौर के एक होटल में आरती ने मोबाइल से दोनों का वीडियो बनाया। उसके बाद ब्लैकमेल का खेल शुरू हुआ, जो आठ माह चला। इसमें तीन बार वे पैसे दे चुके थे, वहीं 50 लाख रुपए लेने आरती और मोनिका जब इंदौर आई तो पुलिस ने उन्हें पकड़ लिया था।