जावेद हबीब का थूक और भाजपा की राजनीति में उबाल

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जो लोग अभी तक जावेद हबीब को हेयर स्टाइलिस्ट के रूप में नहीं जानते थे, वे भी उन्हें पहचानने लगे! एक महिला के बाल काटते हुए उन्होंने दो बूंद थूककर खुद को जिस तरह चर्चा में शामिल किया, वो लोकप्रियता शायद उन्हें करोड़ों के विज्ञापन करके भी नहीं मिल सकती थी। इस घटना से जो विवाद का जो गुबार उठा, वो तो कुछ दिनों में थम जाएगा, पर जावेद हबीब को कोई नहीं भूलेगा! ये ‘नेगेटिव पब्लिसिटी’ का एक फार्मूला भी है। लेकिन, ये बात समझ से परे है कि इस मुद्दे को राजनीति में क्यों घसीटा गया! खासकर भाजपा के पाले में, जबकि वे भाजपा के ही सदस्य हैं! कांग्रेस ने तो उसके अलग ही मजे लिए! जो भी हो, आज जावेद हबीब चर्चा में तो हैं!

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हबीब हेयर एंड ब्यूटी लिमिटेड के सीईओ हेयर स्टाइलिस्ट जावेद हबीब ने भाजपा में शामिल होते समय कहा था ‘मैं बीजेपी में शामिल होकर खुश हूं। मैंने देखा है कि बीते पांच सालों में पीएम नरेंद्र मोदी देश में कैसे बदलाव लाए है। मुझे नहीं लगता कि किसी को अपने बैकग्राउंड की वजह से शरमाना चाहिए।

जब मोदी फख्र से खुद को चायवाला कह सकते हैं, तो मैं क्यों खुद को नाई कहने में शर्म करूं!’ जावेद हबीब अपने सैलून और बालों के स्टाइल के लिए जाने जाते रहे हैं। भाजपा की दिल्ली इकाई के पदाधिकारियों ने जावेद हबीब को विधिवत भाजपा की सदस्यता दिलाई थी। भाजपा में शामिल होने के मौके पर जावेद ने कहा था ‘वे अभी तक बालों के चौकीदार थे और अब देश के चौकीदार बन चुके हैं।’ आज वही भाजपा जावेद हबीब के खिलाफ मोर्चा खोलकर बैठी है।

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इन दिनों जावेद हबीब मुजफ्फरपुर के जड़ौदा में अपने ही एक सेमिनार में कुछ हरकतों के कारण विवादों में घिर गए। बड़ौत की ब्यूटी पार्लर चलाने वाली महिला ने उन पर बालों में थूकने के आरोप लगाए और इसे लेकर भाजपा और हिंदूवादी संगठनों का पारा चढ़ गया। जबकि, ये ऐसा मामला नहीं था कि इतना आग बबूला हुआ जाता! यदि जावेद हबीब के अलावा कोई हिंदू हेयर ड्रेसर होता, तो भी विवाद को हवा नहीं दी जाती!

लेकिन, जावेद के भाजपाई होते हुए, उन्हें घेरा गया। जावेद ने माफ़ी मांग ली, फिर भी जबरन इस मसले को हवा देने की कोशिश हो रही है। किंग विला में आयोजित इस सेमिनार में ब्यूटी पार्लर से जुड़े 250 लोग पहुंचे थे। पूजा गुप्ता भी 2500 रुपए का टिकट लेकर सबसे आगे और 2000 रुपए का टिकट लेकर उनके पति पीछे की लाइन में बैठे थे। जावेद हबीब ने नई तकनीक से पांच मिनट में उलझे बालों को हल्के करने की बात कही थी। इस दौरान बालों की कटिंग करने के लिए उन्हें सीट बैठाया। कटिंग करते समय सिर पर दो बार हाथ मारा और बालों में थूक दिया। उनके पति ने इसकी वीडियो बनाई थी।

बताया गया कि महिला के विरोध करने पर जावेद ने उनसे कथित रूप से कहा था ‘मेरे थूक में जान है!’ बाद में उन्होंने इस घटना की बड़ौत में रिपोर्ट लिखाना चाही, लेकिन पुलिस ने रिपोर्ट लिखने से इंकार कर दिया। पूजा गुप्ता बागपत के जिला पंचायत सदस्य मनु पाल बंसल के साथ मंसूरपुर थाने पहुंचीं और रिपोर्ट लिखवाई।

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मुजफ्फरपुर के खतौली सीईओ राकेश कुमार के मुताबिक जावेद हबीब के खिलाफ धारा 355 (अनादर), 504 (अपमान) और महामारी कानून 1897 की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। महिला पूजा गुप्ता ने कहा ‘मैं अपनी पार्लर चलाती हूं और उस दिन वहां उनसे बाल काटने के गुर और तकनीक सीखने गई थी। मुझे ये नहीं पता था कि वे मेरे बालों पर थूकेंगे। यह अपमान है। मेरे स्टूडेंट्स और दर्शक मुझ पर हंस रहे थे।

जावेद हबीब मामले को लेकर राजनीति क्यों हुई, ये अभी तक स्पष्ट नहीं हुआ। इंदौर में एक भाजपा विधायक ने प्रशासन को ‘हबीब’ की फ्रेंचाइस वाले सभी सेंटर बंद कराने की चेतावनी दी। उनके साथ करणी सेना भी कूद पड़ी, जिसके पीछे मंतव्य समझ नहीं आया। इस बीच, इंदौर के एक छुटभैये नेता ने भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को चिट्ठी लिखकर कहा कि बड़ी हैरानी की बात है कि हबीब खुद को भाजपा का सदस्य बताता है!

चिट्ठी में नड्डा से मांग की गई कि इस व्यक्ति को पार्टी से तत्काल बाहर निकाला जाए! वहीं, भाजपा विधायक के वीडियो पर प्रतिक्रिया देते हुए मध्य प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने जावेद हबीब के भाजपा में शामिल होने की 2019 की तस्वीर के साथ ट्वीट किया कि सैलून तो बंद करना होगा, क्योंकि विधायकजी का गुस्सा खराब है। उधर, कांग्रेस नेता और राज्यसभा सांसद अभिषेक मनु सिंघवी ने जावेद हबीब को टैग करते हुए ट्विटर पर लिखा ‘जावेद हबीब के थूकने का मामला भयानक है, लेकिन दर्शकों की हंसी और भी ज्यादा भयानक है। हमें भीड़ की मानसिकता से बाहर आना होगा और मजाक और किसी की इज्जत के साथ हो रहे खिलवाड़ के बीच अंतर करना सीखना होगा! मुझे यह भी पता चला है कि वे बीजेपी के नेता हैं।’

पिछले आठ दशक से बालों की खूबसूरती बढ़ाने में हबीब परिवार की तीन पीढ़ियां काम कर रही हैं। ब्रिटिश शासन के अंतिम वायसराय लॉर्ड माउंटबेटन से लेकर देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू की हेयर ड्रेसिंग करने का काम भी इसी परिवार ने किया। लेकिन, 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले जावेद हबीब ने भाजपा का दामन थामकर धारा ही बदल दी। लेकिन, हबीब परिवार की तीसरी पीढ़ी के जावेद हबीब ब्यूटी पार्लर चलाने वाली एक महिला के बाल काटते हुए थूकने के कारण विवादों में घिर गए हैं।

इस विवाद का अंत जो भी हो, हबीब की साख को जो बट्टा लगना था वो लग गया। इस घटना के बाद जावेद हबीब ने सोशल मीडिया पर माफ़ी भी मांगी। उन्होंने कहा ‘सेमिनार में मेरे कुछ शब्दों को लेकर लोगों को ठेस पहुंची है। एक ही बात बोलना चाहूंगा, हमारे जो सेमिनार होते हैं, वे प्रोफेशनल सेमिनार हैं। मतलब जो लोग हमारे प्रोफेशन में काम करते हैं। हमारे लंबे शो होते हैं। एक ही बात बोलता हूं, दिल से बोलता हूं। अगर आपको सच्ची में ठेस पहुंची है, आप हर्ट हुए हैं तो माफ करो ना। सॉरी, दिल से माफी मांगता हूं।’

ये पूरा परिवार तीन पीढ़ियों से इसी पेशे में है। शामली के जलालाबाद कस्बे के रहने वाले जावेद के दादा नजीर अहमद 1940 में राष्ट्रपति भवन के बारबर नियुक्त किए गए थे। पिता हबीब अहमद को प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हेयर स्टाइलिस्ट थे। तीसरी पीढ़ी के जावेद हबीब ने लंदन के मोरिस स्कूल से हेयर ड्रेसिंग की ट्रेनिंग ली। वे फिल्म इंडस्ट्री से लेकर नेताओं तक के बालों संवार चुके हैं। लेकिन, जावेद हबीब किसी के पर्सनल हेयर ड्रेसर कभी नहीं बनें। अभी उनकी कंपनी के 24 राज्यों और 110 शहरों में सेंटर चल रहे हैं। सिंगापुर, केन्या, दुबई, बांग्लादेश और नेपाल में भी हबीब के सेंटर है।

दरअसल, जावेद हबीब के साथ पहली बार नहीं हुआ कि वे किसी विवाद में उलझे हों! उनके खिलाफ 2017 में हिंदू देवी-देवताओं के अपमान का मामला भी दर्ज हो चुका है। अपने सैलून ब्रांड के एक विज्ञापन के कारण उन पर हिंदू देवी-देवताओं का अपमान का आरोप लगा था। 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले जावेद हबीब ने भाजपा में शामिल होने की भी औपचारिकता भी की। औपचारिकता इसलिए क्योंकि वे कभी राजनीतिक रूप से सक्रिय नजर नहीं आए और न कभी राजनीतिक मंच पर दिखाई दिए।

जावेद हबीब के खिलाफ गुस्सा इस तरह बढ़ा, जैसे उन्होंने कोई बहुत बड़ा अपराध किया हो! भारतीय अति पिछड़ा वर्ग संघर्ष मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष मोहन प्रजापति ने ऐलान किया कि महिला शक्ति का अपमान करने वाले जावेद हबीब को जो व्यक्ति चार जूते मारकर वीडियो वायरल करेगा, मोर्चा उसे 11 हजार का इनाम देगा। क्या ये बयान जावेद हबीब के कथित कृत्य से कम है! समाजवादी पार्टी के यूथ ब्रिगेड के प्रदेश सचिव शमशेर मलिक ने जावेद हबीब पर रासुका के तहत कार्रवाई की मांग की। उन्होंने कहा कि कोविड काल में भाजपा में रहे जावेद हबीब की यह हरकत निंदनीय है। जावेद हबीब के भाजपा से जुड़े होने के कारण उन पर हल्की धाराओं में मुकदमा लिखकर इतिश्री कर ली गई।

इससे पहले राष्ट्रीय महिला आयोग ने मामले का संज्ञान लिया। अध्यक्ष रेखा शर्मा ने उत्तर प्रदेश के डीजीपी को टैग करते हुए ट्वीट किया कि महिला के बालों पर थूकने वाले वीडियो की सच्चाई की पड़ताल करने और उचित कार्रवाई करने को कहा। इस मामले को लेकर महिला आयोग ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर राकेश अस्थाना को भी चिट्ठी लिखकर इस मामले में दिल्ली पुलिस से कार्रवाई करने की मांग की थी। महिला आयोग इस मामले में जावेद हबीब को भी नोटिस भेजने वाला है।

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हेमंत पाल

चार दशक से हिंदी पत्रकारिता से जुड़े हेमंत पाल ने देश के सभी प्रतिष्ठित अख़बारों और पत्रिकाओं में कई विषयों पर अपनी लेखनी चलाई। लेकिन, राजनीति और फिल्म पर लेखन उनके प्रिय विषय हैं। दो दशक से ज्यादा समय तक 'नईदुनिया' में पत्रकारिता की, लम्बे समय तक 'चुनाव डेस्क' के प्रभारी रहे। वे 'जनसत्ता' (मुंबई) में भी रहे और सभी संस्करणों के लिए फिल्म/टीवी पेज के प्रभारी के रूप में काम किया। फ़िलहाल 'सुबह सवेरे' इंदौर संस्करण के स्थानीय संपादक हैं।

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