

Lives Ruined Due to Police Mistake : सैफ अली खान के संदिग्ध हमलावर की जिंदगी मुंबई पुलिस की गलती से बर्बाद!
Mumbai : पुलिस की जल्दबाजी और संदिग्धों को सही आरोपी मान लेने की गलती किसी की जिंदगी में किस तरह का भूचाल लाती है, इसका एक प्रमाण आकाश कनौजिया भी है। इस युवक को सैफ अली खान पर हमला करने वाला संदिग्ध समझकर छत्तीसगढ़ के दुर्ग से ट्रेन से उतार लिया गया था। उसके साथ पुलिस ने मारपीट की और पहचान पूरी होने से पहले अपनी जीत दिखाने के लिए उसका फोटो देशभर में प्रचारित कर दिया गया। अगले दिन पुलिस ने वास्तविक आरोपी को पकड़ लिया और आकाश को छोड़ दिया। लेकिन, इस दौरान बहुत कुछ ऐसा घट गया जिससे इस युवक की जिंदगी बर्बाद हो गई। उसे नौकरी से निकाल दिया और उसकी शादी टूट गई।
सैफ अली खान पर हमले के संदिग्ध के तौर पर दुर्ग से पकड़े गए युवक आकाश कनौजिया का दर्द अब बाहर आया। उसने अपने साथ इंसाफ की मांग की है। उसने कहा कि मुंबई पुलिस की एक गलती के कारण मेरा जीवन अस्त-व्यस्त हो गया। अब उसके पास कोई नौकरी नहीं है, क्योंकि नियोक्ता ने उसे बदनामी की वजह से निकाल दिया। उसकी जहां शादी होने वाली थी, उन्होंने भी इंकार कर दिया। आकाश के परिवार को भी बेवजह बदनामी का सामना करना पड़ा। इस सबके पीछे उसका दोष कुछ नहीं था। बस पुलिस ने उसके चेहरे की वजह से संदिग्ध समझा।
क्या हुआ था जो आकाश कोपकड़ा
पिछली 15-16 जनवरी की रात मुंबई के बांद्रा इलाके में सतगुरु शरण में 12वीं मंजिल पर अभिनेता सैफ अली खान के आवास में लूटपाट की कोशिश के दौरान एक व्यक्ति ने उन पर चाकू से जानलेवा हमल किया था। गंभीर हालत में सैफ का इलाज हुआ और अब वे अस्पताल से डिस्चार्ज भी कर दिए गए। इस घटना के बाद मुंबई पुलिस ने दो-तीन संदिग्धों की फोटो जारी की थी। इनमें आकाश कनौजिया भी था। घटना वाले दिन 18 जनवरी को आकाश कनौजिया मुंबई लोकमान्य तिलक टर्मिनस-कोलकाता शालीमार ज्ञानेश्वरी एक्सप्रेस से सफर कर रहा था।
मुंबई पुलिस से मिली सूचना के बाद रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) ने छत्तीसगढ़ के दुर्ग से आरपीएफ ने आकाश कनौजिया (31 साल) को हिरासत में लिया था। 19 जनवरी की सुबह मुंबई पुलिस ने पड़ोसी ठाणे से हमले के वास्तविक आरोपी बांग्लादेशी नागरिक शरीफुल इस्लाम शहजाद मोहम्मद रोहिल्ला अमीन फकीर उर्फ विजय दास को गिरफ्तार किया। इसके बाद दुर्ग आरपीएफ ने कनौजिया को छोड़ दिया था। तब तक उसकी जिंदगी में उथल-पुथल हो चुकी थी।
मुंबई पुलिस की एक गलती ने जिंदगी बर्बाद
आकाश कनौजिया का कहना है कि मेरा परिवार तब स्तब्ध रह गया, जब मीडिया ने मेरी तस्वीरें दिखानी शुरू कीं और दावा किया कि मैं इस मामले में मैं मुख्य संदिग्ध हूं। मुंबई पुलिस की एक गलती ने मेरी जिंदगी बर्बाद कर दी। पुलिस यह गौर करने में विफल रही कि मेरी मूंछें थीं और अभिनेता की बिल्डिंग में लगे सीसीटीवी फुटेज में दिख रहे व्यक्ति की मूंछें नहीं थीं।
आकाश के मुताबिक, घटना के बाद मुझे पुलिस से फोन आया और उन्होंने मुझसे पूछा कि मैं कहां हूं। मैं अपनी होने वाली पत्नी से मिलने जा रहा था, तभी मुझे दुर्ग में हिरासत में लिया गया। फिर रायपुर ले जाया गया। वहां पहुंची मुंबई पुलिस की टीम ने मेरे साथ मारपीट और पूछताछ की।
जिंदगी में उधल-पुथल मच गई
आकाश के पुलिस कस्टडी से रिहा होने के बाद उनकी मां ने उन्हें घर आने के लिए कहा। जब आकाश ने अपने नियोक्ता को फोन किया, तो उन्होंने मुझे काम पर न आने के लिए कहा। उन्होंने मेरी बात सुनने से भी इनकार कर दिया। इसके बाद मेरी दादी ने मुझे बताया कि मेरी होने वाली दुल्हन के परिवार ने मेरी हिरासत की बात के बाद शादी की बातचीत को आगे बढ़ाने से इनकार कर दिया।
आकाश कनौजिया के मुताबिक, यह ईश्वर की कृपा थी कि दुर्ग रेलवे स्टेशन पर हिरासत में लिए जाने के कुछ घंटे बाद ही शरीफुल को पकड़ लिया गया। अन्यथा, कौन जानता है शायद मुझे मामले में वास्तविक आरोपी के तौर पर पेश किया जाता और मैं इस चंगुल से निकल ही नहीं पाता।
अब मैं सैफ अली खान से नौकरी मांगूंगा बाहर
इस कथित संदिग्ध आकाश कनौजिया के मुताबिक, लंबे इलाज के बाद उनके भाई की मौत हो गई। इस कारण उनके परिवार को विरार में अपना घर बेचना पड़ा और कफ परेड की एक चॉल में शिफ्ट हुए। मेरे खिलाफ कफ परेड में दो और गुरुग्राम में एक मामला दर्ज है, इसका मतलब यह नहीं कि मुझे इस तरह से संदिग्ध के तौर पर पकड़ा जाए और फिर मुझे अधर में छोड़ दिया जाए। मैं सैफ अली खान की बिल्डिंग के बाहर खड़ा होकर उनसे नौकरी मांगने की योजना बना रहा हूं। क्योंकि, मेरे साथ जो हुआ वो उन पर हुए हमले का संदिग्ध मनाने की वजह से ही हुआ है!